· हिंदु धर्म में शव यात्रा में सिर्फ पुरुष शामिल होते हैं, महिलाओं को इसकी इजाज़त नहीं होती.
· न ही महिलाओं को अंतिम संस्कार करने का अधिकार प्राप्त है, ऐसा क्यों है?
· पुरुषों के मुकाबले महिलाएं ज़्यादा भावनात्मक होती है. वे अपनी भावनाओं पर काबू नहीं कर पाती.
· शमशान में नकारात्मक शक्तियों का काफी प्रभाव रहता है, जिससे बुरी शक्तियाँ कमज़ोर मन वाली महिलाओं को अपने वश में कर सकती है.
इसलिए कहा जाता है कि महिलाओं को शमशान नहीं जाना चाहिए
· अगर महिलाएं शमशान जाती है, तो वे अपने आप को रोने से नहीं रोक पाती. जिससे मृत आत्मा को भी दुख होता है.
· ऐसे में उन्हें मुक्ति नहीं मिल पाती. और महिलाएं भी बीमारी की चपेट में आ सकती है.