भारत में मौजूद है बैकुंठ लोक, स्वयं श्रीहरि ने किया था यहां तप!

आज भारत के चारों ओर केवल श्रीराम का ही गुणगान है. हर कोई उनकी अयोध्यानगरी में सज रहे उनके भव्य मंदिर के दर्शन करने को आतुर है. अयोध्या का नाम सुनते ही हर किसी के मन में प्रभु श्रीराम का चिंतन होने लगता है. अयोध्या को प्रभु श्रीराम की जन्मभुमि से जाना जाता है. इसके लिए ये नगरी दुनियाभर में विख्यात है. लेकिन, क्या आप जानते हैं कि त्रेतायुग में प्रभु श्रीराम के जन्म का साक्ष्य बनने से पहले ये भूमि भगवान विष्णु की तपोस्थली भी रह चुकी है? हर किसी ने रामायण में ये सुना है कि अयोध्या में प्रभु श्रीराम ने जन्म लिया. और अपने 14 वर्ष के वनवास के आखिरी पड़ाव में लंकापति रावण का संहार कर, उन्होंने अयोध्या में करीब 11 हजार वर्षों तक राज किया…उसके बाद प्रभु बैकुंठ धाम पधारे. ये रामकथा हर कोई जानता है..लेकिन ये बहुत कम लोगों को ज्ञात है कि उनसे पहले सतियुग में ये नगरी श्रीहरि भगवान विष्णु की तपोस्थली थी. अब, अयोध्या में ये जगह कहां पर है? और भगवान विष्णु ने वर्षों तक यहां तप क्यों किया था? आइए इसके लिए जानते है पौराणिक कथा.

स्कंद पुराण के अनुसार, एक बार देवताओं और दानवों में भयंकर युद्ध छिड़ गया था. दानवों ने समस्त संसार में हाहाकार मचा दिया था. तब सभी देवगण भगवान विष्णु के पास सहायता लेने के लिए पहुंचे. श्रीहरि ने सभी देवगणों को चिंता न करने को कहा.. इतना कहते ही भगवान विष्णु अंतर्ध्यान हो गए और गुप्त रूप से अयोध्या नगरी के गुप्तहरी तीर्थ में आकर वर्षों तक तपस्या करने लगे. उनके तप से जो तेज प्रकट हुआ वह उन्होंने देवताओं को प्रदान किया और उस तेज से असुरों का संहार हुआ.

  • गोप्रतार समं तीर्थं न भूतो न भविष्यति।

इस श्लोक का अर्थ है कि गुप्तहरि तीर्थ के समान न कोई तीर्थ था और न ही भविष्य में होगा…

भगवान विष्णु के गुप्त रूप से तपस्या करने के कारण इस स्थान का नाम गुप्तहरि तीर्थ पड़ा. वर्तमान समय में इसी को गुप्तार घाट के नाम से जाना जाता हैं. ये वही जगह है, जहां से त्रेतायुग में भगवान राम अपने बैकुंठ लोक प्रधारे थे. शास्त्रों के अनुसार भगवान विष्णु को अयोध्या नगरी बहुत प्रिय है और यह उनकी पहली पुरी भी मानी जाती है. अयोध्या के गुप्तार घाट को भगवान विष्णु का निवास स्थान भी कहा गया हैं. इस बात का विस्तार पूर्वक वर्णन स्कंद पुराण के वैष्णव खंड के अयोध्या महात्म में भी मिलता है,.